Wednesday, August 29, 2018

कुछ मौके जीवन में एक बार ही मिलते हैं !!!

Image result for zindagi bar bar moka nahi detiहाय दोस्तो ! में ललतेश यादव दोस्तों ! किसी ने सच ही कहा है कि आपके जीवन में कल क्या होगा ,या आप कल किस मुकाम पर होंगे ये सब आज के लिए निर्णय ,व कार्य तय करते हैं  |


प्रत्येक मनुष्य के पास प्रचुर अवसर होते हैं :- आपके जीवन में पहला कदम ही सबसे ज्यादा महत्व रखता है | बुद्धि मनुष्य को मिला ईश्वर का ऐसा वरदान है जिसकी वजह से वह नया काम कर सकता और स्वयं को प्रगति के पथ पर ले जा सकता है | जिस पल आप कोई अवसर पाते हैं व आपको लगता है कि आप उसके असली हकदार हैं तो ब्रह्मांडीय शक्तियां पाने लगते हैं | व्यक्ति का निर्माण सफलता और प्रसन्ता के लिए ही हुआ है तुम इसलिए पैदा हुए हो कि इस संसार में ऊचे उठो और उनत्ति करो | 

चौकन्ने रह कर अवसर का इंतजार कीजिए :- लाइफ में कुछ बेटर करने का अवसर मिले इसका सब इंतजार करते हैं | लेकिन अवसर किसी का इंतजार नही करता | अवसर अपने समय पर आता है और चला जाता है | जो लोग जागरूक रहते हैं वे सुअवसर का फायदा उठा कर जिंदगी में उचाईयों को छूते है |  

सक्सेस की राह में कई मुश्किलें भी आती हैं :- जिनके चलते हम कई बार मुश्किलो में सही समय पर सही डिसीजन नही लेते या कार्य नही करते कल पर छोड़ देते हैं | स्वामी उमाकांन्तानंद जी कहते हैं कि -

" कल वो अश्क कुसुम है जिसे किसी ने नही देखा | सब इंतजार करते रहे की कल अश्क कुशम आयेगा,खिलेगा लेकिन वो कभी नही आया |  कल कभी नही आता वो आज ही आता है "

"कल की धार पर ना जाने कितनो की प्रतिभाओं के गले कट गए कितनो के सपने अधूरे रह गए अवसर को कभी चूकना नही यही सफलता का रहस्य है | अब आप सोचोगे की अवसर का पता कैसे चले ? हमेशा सावधान रहे  " 

अवसर का फायदा उठाने के लिए रिस्क लेना जरूरी है :- माँ जब रिस्क लेती है तभी किसी बच्चे को जन्म देती है | पेरेंट्स भी बच्चो की पढ़ाई में रिस्क लेते हैं तभी कोई बच्चा पढ़ पाता | इंसान जब रिस्क लेता हैं तभी लाइफ में सक्सेस  कहलाता | दोस्तों मेरा मानना है की सब से बड़ा रिस्क ये जीवन है जिस का कोई भरोषा नहीं फिर भी पागलों की तरह ये भी कर लें और ये भी ले लें के पीछे भागते रहते हैं | 

जब किस्मत आगे बढ़ने का अवसर दे तो अवसर का फायदा उठाने से ना चूकें :- ये मौका बार बार नही मिलता | पता नहीं दुबारा मौका मिले भी या नहीं | अगर आप एक बार मौका चूक गए तो जिंदगी भर दुसरो के तलवे चाटने और पछताने के सिवाय आपको कुछ नहीं मिलेगा | और आप ये सोच कर पछताते रहोगे कि मुझे मौका मिला था मैने वो मौका खो दिया | इसलिए सावधान जब भी मौका मिले हर विपरीतपरस्थति को इग्नोर करते हुए मौके का फायदा उठाओ | ये याद रखो चुनौतियों के रूप में ही अवसर आते हैं | 

बीता हुआ वक्त लौटकर नही आता :- ये जानते हुए भी कितना समय सोचने व सही डिसीजन लेने मे बर्बाद करते हैं । जिदगी में कामयाब होना है तो वक्त की वेलूय समझनी होगी | दंगल फिल्म में एक डायलोक था -  

" अपनी ऊर्जा का सही उपयोग करने के लिए भगवान ने इंसान को सीमित समय व सीमित ऊर्जा दी है इसलिए जरूरी है कि इंसान इसका उपयोग सोच समझ कर करें " 

लाइफ में कुछ अच्छा करने के लिए हर दिन हर घण्टे मानसिक रूप से वहां रहना जरूरी है | क्यों कि हमारा मन बहुत ही चंचल है। इधर उधर बातें करने से अच्छा है कि  आप किताब पढें । पढे हुए किसी एक विचार से आप की सोच बदल सकती है और सोच से जिदगी बदल सकती है आपका बात करने का ढंग बदल सकता है | 









Sunday, August 19, 2018

सफल जीवन का रहस्य !!!



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हाय दोस्तों ! में ललतेश यादव | दोस्तों !  कई लोग कहते हैं कि -दूसरे लोगो की मदद क्यों करनी चाहिए ? इससे क्या लाभ ? महान लोगो का कहना है -  जो आपको चाहिए वो देना सीखो | 

 सक्सेस चाहते हो तो दूसरे लोगो को सक्सेस होने में मदद करो , आगे बढ़ना चाहते हो तो दुसरो को आगे बढ़ने में मदद करो  , पैसा चाहिए तो पैसा दो , सहानुभूति चाहिए तो सहानभूति दो ,विश्वास चाहिए तो दुसरो पर विश्वास करो | इज्जत चाहिए तो इज्जत दो , साथ चाहिए तो साथ दो | 

जो आपको चाहिए वो आप दो | जो आप दोगे वही आपको मिलेगा | आपने देखा होगा जो लोग गाली देते हैं उन्हें बदले में गाली ही मिलती हैं , कोई भी गाली देने वाले पर फूल नही बरसाता | प्रकृति का नियम है जो बीज तुम बोते हो वही काटने पड़ते हैं | किसी ने बहुत अच्छी बात कही है - 

" जिंदगी एक प्रतिध्वनि है सब कुछ वापस आ जाता है ,अच्छा बुरा झूठ सच सब  कुछ ''

अत: दुनिया को आप सबसे अच्छा देने का प्रयास करें | और निश्चित ही सबसे अच्छा आपके पास आयेगा | ऐसा नहीं हो सकता जब आपको जरूरत पड़े तो आप मदद चाहो ,और जब किसी सामने वाले को आपकी जरूरत पड़े तो आप ढूढे भी ना मिलो | 

जीवन में वही लोग असफल होते हैं जो लोग सिर्फ अपने हित के लिए काम करते हैं , अपनी जिंदगी अपने तक सिमित रखते हैं|  और जब खुद को जरूरत पड़े तो सोचते हैं कि लोग हमारी हैल्प करें | जब कोई उनकी हैल्फ नही करते तो दुसरो में कमी निकालते हैं,शिकायत करते हैं कि कोई हमारा साथ नहीं देता, हमे कोई नही पूछता ,कोई अपना नही है | ये भूल जाते हैं जब आप कुछ देते हो तभी आपको कुछ जीवन में मिलता है | प्रकृति भी तभी हमे दूसरा सांस देती है जब हम पहला सांस छोड़ते हैं | 

आप खुद से पूछो कि आप किस के हो ?  आपको कब किसी की परवाह   रही है ? आप कब -कब दुसरो की जरूरत पड़े में या उनके सुख दुःख में काम आये हो ? अगर आप खुद से ऐसे सवाल करोगे तो आपको दुसरो से शिकायत नहीं रहेगी |  ब्रेन ट्रैसी कहते हैं कि -


 "सफल लोग दुसरो की मदद के लिए हमेशा अवसर तलाशते रहते हैं ,और वही असफल लोग कहते हैं इससे भला मेरा क्या फायदा ?"


जब तक आप सिर्फ अपना फायदा देखोगे तब तक आप अपनी लाइफ में सक्सेस नही हो सकते | आप उसी काम में सक्सेस होते हो जिससे किसी और को  भी बेनिफिट हो | आपके कार्य से किसी और को कोई बैनिफिट नही है तो आप लाइफ में कभी भी सक्सेस नहीं हो सकते | बाबा रामदेव जब दुनिया में कामयाब हुए जब उन्होंने प्राणायाम से लोगो को  बीमारी मुक्त किया | बिलगेट्स इसलिए सक्सेस हुए इन्होने माइक्रो सॉफ्टवियर बनाया

जीवन की सबसे सुखद अनुभूति देने में है। दुनिया, स्वामी विवेकानंद जी  सुभाषचंद्रबोस , आजाद भगतसिंह ,मदरटरेसा , ए  पी  जे अब्दुल कलाम जैसे - देश को कुछ  देने वालो को याद करती है, ना की लेने वालो को | आप भी उनलोगो को पसंद करते हैं जो आपकी हैल्फ करते हैं ना कि उनकी जो आपसे हमेशा मांगते रहते हैं | 

देने वालो से ही  समाज व दुनिया का कुछ भला होता है।  जब हम किसी को निस्वार्थ कुछ देते हैं  या मद्त करते हैं, तो  लेने वाले का  ह्रदय प्रसन्न होता है | और प्रसन ह्रदय व्यक्ति दिल  से दुआ देता है ।  दुआ यश्स्वी बना देती है। 

देने  का मतलब सिर्फ ये नही है कि आप किसी की रूपये पैसे से ही मद्त करें। जिसे फाइनेंसियल स्पॉट की जरूरत है तो उसे फाइनेंसियल स्पॉट  करें,  जिसे मॉरल स्पॉट की जरूरत है, उसे मोरल स्पॉट करें और जिसे फिजिकली  हैल्प चहिए उसे फिजिकली हैल्प करें। 



देनें का सबसे बड़ा महत्व तो ये है कि जब किसी और की मदद करते हैं , उस से पहले खुद की मद्त हो जाती है।  लेकिन किसी की मदद करते हुए ये जरूर सोचें कि ये मदद आप क्यों कर रहे हो ? मद्त सिर्फ इंसानियत के नाते करें, किसी लालच वश या अहसान जताने के लिए ना करें।



किसी कार्य को करने से अगर एक इंसान को भी बैनिफिट होता है तो वो कार्य जरूर करना चाहिए |  आज का इंसान इतना सेलफिश हो चुका है कि सिर्फ अपने बैनिफिट के बारे में सोचता है वह जो भी कार्य करता है वह उन्हें खुश करने के लिए करता है जिनसे उसे बैनिफिट हो । 



महान लोग वो होते है जो गरीब लाचार लोगो के लिए कुछ करते हैं । जब आप गरीब व् लाचार लोगो के लिए कुछ करते हैं तो इससे आत्मसंतुष्टि  मिलती है | संतुष्ट इंसान ही खुश रहता है | एक चीनी कहावत है - 



" अगर आप कुछ घंटो की शांति चाहते हो तो एक झपकी ले लो और अगर एक सपताह की शांति चाहिए तो पिकनिक पर चले जाए और अगर उम्र भर खुश रहना चाहते हो तो किसी अनजान जरूरत मंद की मदद कर दो ।






Thursday, August 16, 2018

असफलता के ७ कारण !!!




Related imageहाय दोस्तों ! हर इंसान सफलता चाहता है ,लेकिन हर इंसान सफल  हो नही पाता | जिसकी वजह से पूरी लाइफ टेशन ,लाचारी, तंगी, कम्प्रोमाइज करना पड़ता है | छोटी छोटी ख्वाईशो को दबाना पड़ता है | सबसे ज्यादा तो समस्या तब खड़ी होती है जब रिलेटिव ,दोस्त, परिवार वाले आगे निकल  जाते हैं | असफल व्यक्ति को रिलेटिव व दोस्त नकारा समझने लगते हैं | बीबी बच्चो की निगाह में भी वो इज्जत नही रहती | असफल  इंसान डिमोटिवेट होने लगता है खुद से ही सवाल करने लगता है कि में ही असफल क्यों ? में ही गरीब क्यों ? मेरी ही किस्मत साथ क्यों नहीं देती | अपनी विपरीत परस्थतियों के चलते हिम्मत हार जाता है | 

सफल व्यक्ति साठ साल की ऐज में भी एक्टिव होगा ,कॉन्फिडेंस से लबालब होगा ,चाँद तारो को छूने की ख्वाइस रखेगा | खुद को जवान फील करेगा | असफल व्यक्ति 35. ४० साल की ऐज तक आते -आते हिम्मत हार जायेगा, खुद को समय के हवाले कर देगा | असफलता का कारण क्या है ? 

1 बिना सोचे समझे कैरियर चुनना :- दोस्तों ! कैरियर हमेशा वो चुनना चाहिए जो आपका पैशन हो, जिस कार्य को करते वक्त एंजॉय करते हो | मुझे सोशल वर्क पसंद है | इसे आगे कैसे बढ़ाया जाये ,किस को साथ में जोड़ा जाये,किसको हटाया जाये, क्या किया जाये,किस से बचना चाहिए ,कौन हैल्पफुल साबित होगा और कौन हार्मफूल  इसकी प्लानिंग करते हुए ,लोगो से मिलते झूलते हुए में बहुत इन्जॉय करती हूँ | इसलिए ८ ,९ साल में ही मैने  मेहनत कम की और इंजॉय ज्यादा किया | में आज सफल सोसल वर्कर हूँ | 

2 बिना प्लानिंग के कार्य करना :- दोस्तों ! प्लानिंग के बिना तो आप एक किटटी पार्टी भी नही कर सकते | तो लाइफ बिना प्लानिंग के कैसे चल सकती है ? लाइफ में अगर आपने प्लानिंग नहीं कि तो आप पानी में गिरे एक लकड़ी के टुकड़े के सामान आपकी हालत हो जाएंगी जिधर पानी का बहाव  ले जायेगा आप उधर ही बहते चले जाओगे फिर पता नही आपको कभी किनारा मिलेगा भी या नही | 

3 टाइम किलर एक्टविटीज में टाइम बर्बाद करना :- दोस्तों! वट्सऐप देखना , फेसबुक चेक करना ,टी. वी ,देखना , वीडियो देखना ,दोस्तों में गॉसिप करना , आलस्य में पड़े रहना  ये सब टाइम किलर एक्टिवटीज हैं | ये सब तभी तक हमारे लिए हैल्पफुल हैं जब तक ये एक लिमिट मे हैं | अगर हमारा समय इन चीजों में ज्यादा बर्बाद होता है तो ये हमारे लिए हार्म फूल हैं  | 

4 फिजूल खर्च करना :- फिजूल खर्च करने का मतलब है अपने बजट से ज्यादा खर्च करना | अच्छा खाना , अच्छा पहना,घूमना फिरना लाइफ एन्जॉय करना किसी को बुरा नही लगता | लेकिन इन चीजों में टाइम व पैसा खर्च करने की एक लिमट होती है | 25 साल से लेकर अगर 35 साल तक के समय में आपने अच्छी प्लानिंग अच्छी मेहनत कर के आपने कोई मुकाम हासिल कर लिया तो आप को लाइफ में पीछे मुड़कर देखने की जरूरत नहीं पड़ेगी | और अगर आपने ये समय और पैसा मौज मस्ती में उड़ा दिया तो आप पूरी लाइफ टेशन में रहोगे और परिवार व रिलेटिव्स के लिए टेशन क्रियेट करोगे |दोस्तों लाइफ में कोई भी दुसरो की टेशन नहीं लेना चाहेगा | ऐसी स्थति में आपके अपने ही आपसे दूर होने लगेंगे | 

5  कंडीशन फेवर में ना होना :- कई बार कार्य तो शुरू कर देते हैं लेकिन कंडीशन  फेवर में ना हो तो  कार्य मे सफल नही हो पाते  जैसे - आप गाड़ी मकैनिक हैं आपको गाड़ी रिपेयर करनी है लेकिन आप बीमार हो गए आप गाड़ी टाइम पर रिपेयर नही कर पाए तो गाड़ी का मालिक किसी और से गाड़ी रिपेयर करायेगा | अगर आप उसका काम एक दो बार समय से नही कर पाए  या गुड़ क्वालटी नही दे पाए तो वो आपसे आगे काम नही करायेगा |  

6 निगेटिव सोच होना :- अगर आपकी सोच नेगेटिव है तो आप लाइफ मे कभी भी सफल नही हो सकते | आपको दो दोस्तों की रियल स्टोरी बताती हूँ - दो दोस्तों ने गाड़ी लीं | एक सिर्फ खर्च के बारे में सोचता इतने का डीजल लग गया , इतने परमिट में लग गए , इतने टोल टैक्स  में लग गए , इतने  क़िस्त में चले गए, इतने रिपेरिंग में लग गए, इतने ड्राइवर लेगा | इसमें इतना खर्च हो जाता है बचता तो कुछ है ही नही | दूसरा सोचता  है चलो गाड़ी ने अपना खर्चा तो निकाला अब कम बचा है आगे ज्यादा बच जायेगा क़िस्त उतर जाएगी तो गाड़ी अपनी हो जाएगी,अब नही भी बच रहा तो आगे बचा कर देगी | डिफरेंट सोच की वजह से नेगेटिव सोच वाले इंसान ने तो दो साल में गाड़ी नुकसान में बेची और जिसकी सोच पोजेटिव थी उसके पास आज ९० गाड़ी हैं | वो अपनी कंपनी का मालिक है और नेगेटिव सोच वाला इंसान आज भी एक ट्रांसपोट में नौकरी कर रहा है | आप सोचो कैसा बनना चाहोंगे ?


7 समय पर चूक जाना :- समय बड़ा बलवान है, जिसके फेवर में समय होता है उसे पूजवा देता है और जिसके अपोजिट हो जाए उसे धरती पर रेंगने के लिए मजबूर कर देता है | पूजे वो लोग जाते है जो अपनी हर विपरीत परस्थति को चीरते हुए लक्ष्य तक पहुंचते हैं | लेकिन जो लोग समय की वैल्यू नही समझते ,समय को चूक जाते है, समय उनहे बर्बाद कर देता है | एक लड़का इंजीनियर बनने के लिए शहर जाता है, वो वहां गलत दोस्तों में रह कर गलत कार्यो में इनवॉल हो जाता है अफेयर में फंस कर टाइम से पहले लव मैरिज कर लेता है |  अब आप बताइये कि समय उसे पुजवायेगा या खाक छानने मर मजबूर कर देगा ? 



Tuesday, August 7, 2018

क्यों बिखरते हैं रिश्ते ?


Related imageहाय दोस्तों ! में कई दिन रिलेटिव्स के साथ रही | मेरे मन में बार बार एक ही विचार आ रहा था कि रिस्तो में खटास क्यों आ जाती है | जो रिश्ते परिवेश हमे परमात्मा ने दिये, हम उन्ही से क्यों दुर रहना चाहते  हैं ? उन्हें क्यों अवॉइड करने लगते हैं ? क्यों उनसे मिलकर टेशन होती हैं ?  बहुत सोचा, ओरो के नजरिये से भी देखा, मुझे इसके कई कारण नजर आए - 

1 अशिकक्षता :- दोस्तों अशिक्षक लोगो को ज्यादातर लड़ते झगड़ते पाया जाता है | ऐसे लोग अपने फर्ज पर ध्यान ना देकर अपने हक के लिए लड़ते झगड़ते रहते हैं | झगड़ो की वजह क्या है ? ये सोचने की बजाय उनका सलूशन ढूढ़ने की बजाए एक दूसरे की कमी निकाले जाते हैं | कई बार तो गाली गलोच तक  पहुंच जाते हैं | जब कि गाली गलौच के बारे में कबीर दास जी कहते हैं -

"आवत गाली एक है, उलटत होये अनेक , कह कबीर मत उलटिये रहे एक की एक "

अगर ये सोच कर सामने वाले की गलती अवॉइड कर दी जाये तो | रिश्ते बिखरने से बच सकते हैं | लेकिन जब भी लड़ाई झगड़े होते हैं तो इंसान गुस्से में अपने दिल की भड़ास निकालने के चककर मे बहुत ज्यादा कड़वा बोल जाते हैं | वो कड़वे शब्द जिंदगी भर सूल की तरह चुभते हैं | इसलिए रिश्तो में कभी भी कडवे शब्दों का इस्तेमाल ना करें | रहीम जी ने कहा था -

रहिमन धागा प्रेम का मत तोड़ो चटकाए ,टूटे फिर ना मिले मिले गांठ पड़ जाए "

2 अपेक्षाएं :- दोस्तों ! रिस्तो में अपेक्षाएं ना रखें, ज्यादा अपेक्षा रखने वाले लोगो के रिस्तो में खटास आ जाती है | कामयाब लोग आगे बढ़ने के लिए सोचते रहते है जिसकी वजह से जितनी अपेक्षा परिवार वाले या रिलेटिव उससे करते हैं, उन पर वह खरा नही उतर पाता जिससे परिवार वाले कटने लगते हैं | जिसके पास पैसा होता है वो सोचता है कि आगे कैसे बढ़ा जाए ,और जिसके पास  नही होते या कम होता है  वो सोचता है मुझे मदद मिल  जाए | दोनों अपने नजरिये से सही होते हैं और अपने नजरिये के चलते एक दूसरे से दूर  होते जाते हैं |  जबकि अगर एक दूसरे के नजरिये से देखें तो एक दूसरे में प्रेम बना रह सकता है | जिसके पास ज्यादा हैं वो बडी जिम्मेदारियां या खर्चे खुद उठाकर परिवार की टेशन कम कर सकता है, और जिनके पास पैसा नही है वो ये सोच कर तसल्ली कर सकते हैं कि चलो बड़ा खर्चा ये संभाल लेते हैं हमे अपना घर ही चलाना हैं | लेकिन ये होता नही है आप उन लोगो की जितनी मदद करो उन लोगो की उतनी अपेक्षाएं बढ़ने  लगती हैं | वो ये नहीं सोचते कि आप पर अपना घर खर्च चलाना मुश्किल है तो ये इतना कैसे कर सकता है | 

3 ईर्ष्या :- दोस्तों हर इंसान अपने कर्म , बुद्धि , योग्यता  व भाग्य के अनुसार जीवन में सक्सेस या अनसक्सेस होता है।लेकिन अन्सक्सेस इंसान, सक्सेस इंसान से ईर्ष्या वश कटने लगता है अपने फैलियर व दुःख की वजह दुसरो को मानने लगता है । जिसकी वजह से रिस्तो में कड़वाहट आने लगती है । रामदेव बाबा ने कहा है कि -

" हमारे सुख दुःख का कारण दूसरे व्यक्ति या विपरीत परिस्थितियां नही हैं अपितु हमारे अच्छे या बुरे विचार होते हैं "

4 घमंड :- दोस्तों लाइफ में जब दुःख आता है तो अपने याद आते हैं| और जब सुख आता है, पैसा बढ़ता है तो इंसान में घमंड आने लगता है | वो ये भूल जाता है सुख दुःख दोनों भाई -भाई हैं जो जीवन में साथ चलते हैं | अगर आज गरीबी है तो कल अमीरी भी आएगी और आज बहुत पैसा है तो कल तंगी भी आयेगी | लेकिन इंसान थोड़ा सा पैसा आते ही ये भूल जाता है कि आपको पहले भी दुसरो की हेल्फ की जरूरत पड़ी थी और आगे भी पड़ सकती है | बुजर्ग कहते हैं -

"तीन पीढ़ी में इतिहास बदल जाता है | पहली अगर बहुत रहीस है तो बच्चे इतने कामयाब नही होंगे नार्मल बन कर रह जायेगे और तीसरी पीढ़ी गरीबी में जिंदगी व्यतीत करेगी| और अगर पहली पीढ़ी गरीब है तो दूसरी पीढ़ी बहुत मेहनत करेगी और तीसरी पीढ़ी रहीस बन जाएगी "